बक्सर खबर। धरिछना कुंवरी वियाहुत कलवार सेवा समिति के द्वारा रविवार को अनुमंडल के डुमरी गांव में सातवीं बलभद्र जयंती मनाई गई। जानकारों के अनुसार वियाहुत कलवार समाज के कुल देवता व शेषा अवतार भगवान बलभद्र की वार्षिक पूजा डुमरी गांव में पिछले सात वर्षो से की जा रही है। यह पूजन श्री बलभद्र यानि बलराम जी का जन्म भाद्रपद शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को हुआ था। इस तिथि को उनकी यहां उत्सव मनाया जाता है। समारोह में डुमरी के साथ दूर-दूर के कलवार समाज के लोग शामिल हुए। समिति के सदस्यों ने वियाहुत कलवार के चट्टानी एकता और अखंडता को बनाए रखने पर बल दिया।
वक्ताओं ने समाज के अंदर वर्तमान समय में फैली दहेज प्रथा, बाल विवाह, भू्रण हत्या जैसी कुप्रथाओं को छोडऩे की अपील की। समारोह में समाज के लोगों से बेटा तथा बेटियों को समान रूप से शिक्षित करने की अपील की गई। यह भी कहा गया कि समाज के जो भी लड़के या लड़की पढ़ाई में औव्वल स्थान पाते है उन्हें समाज द्वारा पुरस्कृत किया जाएगा। इसके लिए लोगों से ऐसे मेधावी छात्रों की सूची तथा फोटो उपलब्ध कराने को कहा गया। वही वियाहुत कलवार से संबंधित स्मारिका के प्रकाशन के संबंध में भी जानकारी दी गई।
मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में लिलावती देवी, पुष्पा देवी, धनसोई के पूर्व बीडीसी धर्मेन्द्र प्रसाद, डा. विश्वनाथ प्रसाद, सैकड़ों गणमान्य लोग उपस्थित थे। इसके अलावे सोहन प्रसाद वियाहुत, शिवजी प्रसाद वियाहुत, लक्ष्मण प्रसाद, विनोद प्रसाद, अयोध्या प्रसाद, लाला प्रसाद, दीना नाथ प्रसाद, संतोष प्रसाद वियाहुत, अशोक प्रसाद, पशुपति प्रसाद, गुड्डु प्रसाद, समेत वियाहुत समाज के कई अन्य लोग थे।
जयंती समारोह में शामिल लोग
वार्षिक पूजा में शामिल लोग
Ye bhut hi bekar puja hai bhojpuri samaj ko aise puja bnd kra dena chahiye jo hr vrg ke log mil ke na kre ye samaj ke ekta ke khilaf hai Jay ho balbhadr maharaj