बक्सर खबर। अक्सर आप पढ़ते होंगे। डीएम के निरीक्षण से मचा हड़कंप। लेकिन, ऐसा वास्तव में तभी होता है। जब कोई अधिकारी कार्रवाई करता है। एक दिन पहले नौ लोगों पर हर्जाना लगाने वाले डीएम राघवेन्द्र सिंह जब बुधवार को राजपुर प्रखंड मुख्यालय पहुंचे तो वहां हड़कंप मच गया। क्योंकि वे अचानक पहुंचे थे। नतीजा बीडीओ प्रखंड कार्यालय पर नहीं मिले। अंचल अधिकारी भी कहीं गए थे। साथ ही अनुपस्थित लोगों से जवाब तलब भी किया है। उनके साथ डीडीसी अरविंद कुमार, एसडीओ केके उपाध्याय व डीसीएलआर भी थे। इन अधिकारियों ने गहनता से प्रखंड कार्यालय की जांच की। साथ ही मनरेगा कार्यालय भी पहुंचे।
अधिकारियों से बातचीत में यह पता नहीं चला कि डीएम ने वहां के निरीक्षण में क्या कमियां पाई हैं। लेकिन, हर तरफ बेचैनी का आलम था। डीएम तीन बजे राजपुर में रहे। उसके बाद जिला मुख्यालय लौटते समय चौसा प्रखंड कार्यालय भी पहुंच गए। वहां भी हायतौबा मची। कुछ देर रूकने के बाद वापस लौट गए। लेंकिन, उनके जाने का प्रभाव रहा कि पांच बजे से पहले। कोई प्रखंड व अंचल कर्मी अपने कार्यालय से बाहर नहीं निकला। डीएम के निरीक्षण के उपरांत जब पता किया गया कि राजपुर के बीडीओ और सीओ उस वक्त कहां थे। सूत्रों ने बताया बीडीओ अरुण कुमार की मां बीमार थी। जिसके कारण वे छुट्टी पर थे। सीओ भी सरकारी कार्य से कहीं गए थे। निरीक्षण के दौरान वे भी वापस आ गए।