वरिष्ठ पत्रकार शिवजी पाठक का निधन

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बक्सर खबर (आलेख राजीव भगत, पत्रकार व अधिवक्ता डुमरांव) । विगत रात वरिष्ठ पत्रकार पंडित शिव जी पाठक हमलोगो के बीच नही रहे ।आज उनका अंतिम संस्कार चरित्रवन में दाह संस्कार उनके पुत्र अम्ब रिष पाठक द्वारा किया जायेगा। अभी अभी उनका शव यात्रा डुमरांव से बक्सर के लिए प्रस्थान कर गई है ।

शिवजी पाठक आप मूलतः नेनुआ गांव के निवासी थे इनके पिताजी अनजान ब्रह्म बाबा के पुजारी थे उन्हीं के साथ छोटी सी कोठरी में रहा करते थे ।उनका शिक्षा संस्कृत से प्रभाकर तक हुई थी ,1976 77 से ही पहली बार दैनिक आज वाराणसी से जुड़े डुमराव से जुड़ी हुई समाचारों का संकलन किया करते थे सत्तर के दशक में पत्रकारिता के क्षेत्र में आर्यावर्त के पत्रकार शास्त्री जी ,कभी कभार प्रदीप अखबार में बिंदा प्रसाद, जनशक्ति के संवाददाता अली अनवर हुआ करते थे । 1982 यानि अस्सी के दशक में पत्रकारिता के क्षेत्र में एक प्रकार से क्रांति आई जब बिहार के तत्कालीन मुख्यमंत्री जगन्नाथ मिश्र द्वारा पत्रकारों के विरुद्ध काला बिल लाए थे , उस समय सामाजिक कार्यकर्ताओं को साथ लेकर डुमराव में विरोध किया गया था ।

उसमे पाठक जी की अहम भूमिका थी ,डुमरांव अनुमंडल बनाओ संघर्ष समिति के संयोजक श्री सच्चिदानंद भगत के नेतृत्व में पहली बैठक हरी जी के हाता में हुई थी जिसकी अगुआई भी शिव जी पाठक ने किया था इस बैठक में सच्चिदानंद भगत ,शिव जी पाठक ,शंभू शरण नवीन , प्रो प्रदीप लाल,अली अनवर,दशरथ विद्यार्थी, प्रो कामता लाल,रामलाल,नजीर हुसैन ,डॉक्टर रजनीकांत पांडे,प्रियरंजन राय, बिंदा प्रसाद आदि शामिल थे,बाद के दिनों में अनुमंडल बनने तक पत्रकारिता के माध्यम से लोगो के बीच जागरूकता फैलाने का काम पाठक जी द्वारा किया जाता रहा,अनुमंडलीय पत्रकार संघ का निर्माण कर पत्रकारों को संगठित करने का भी काम उनके द्वारा किया गया था। उन दिनों डुमराव से तीन पत्रकार थे जिसमे शिवजी पाठक ,अली अनवर, नजीर हुसैन शेष सामाजिक कार्यकर्ताओं को जोड़कर अनुमंडलीय पत्रकार संघ का प्रथम सम्मेलन हरीजी के हाता में किया गया था तीन पत्रकारों के अलावें शिवशंकर यादव,राजकिशोर नवानगर दोनो जनशक्ति के प्रतिनिधि के रूप में हिस्सा लिए थे वरिष्ठ पत्रकार रामेश्वर प्रसाद वर्मा अधिवक्ता एवं पत्रकार दैनिक आज ,सामाजिक कार्यकर्ता प्रो प्रदीप लाल,रामलाल, प्रियरंजन राय ,सच्चिदानंद भगत,दशरथ विद्यार्थी ने भाग लिया था ,1985 में टाइम्स ऑफ इंडिया द्वारा नवभारत टाइम्स का आरंभ पटना से किया गया जिसमे मेरे सहपाठी प्रदीप कुमार जुड़े इसके बाद मैं हिंदू स्थान समाचार संवाद समिति से जुड़ा , डुमराव के ही कुमार नयन बक्सर से नव भारत टाइम्स से जुड़े ।धीरे पत्रकारिता के क्षेत्र में कार्य करने के प्रति जागरूकता बढ़ने लगी उन दिनों पत्रकारिता के साथ मैं अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का गठन कर नगर मंत्री 1987 में बना धीरे धीरे कार्य का विस्तार देने हेतु मुझे आरा का दायित्व दिया गया बाद में परिषद का पूर्णकालिक के रूप में प्रांतीय कार्य समिति का सदस्य बनाया गया 1993 तक परिषद को सेवा दे सका क्योंकि पारिवारिक जीवन में लौट गया ।इसी काल खंड में पाठक जी द्वारा विश्वामित्र प्रेस बक्सर का पुराना मशीन अपने सहयोगी शिव कुमार यादव,मोहन यादव के सहयोग से खरीदा गया और मोहन यादव के मकान में स्थापित कर चलाया गया प्रेस का नाम बाबा प्रेस रखा गया प्रेस खोलने के बाद पाठक जी काफी संघर्ष करते रहें,उन्होंने एक पत्रिका पाक्षिक युग विचार का प्रकाशन आरंभ किया जिसका विमोचन तत्कालीन जिला पदाधिकारी तारा कांत झा ने किया था निबंधन के लिए जाने पर युग विचार टाइटल नही मिलने पर बाबा टाइम्स मासिक का प्रकाशन आरंभ किया गया बाबा टाइम्स के माध्यम से पत्रकारिता के क्षेत्र में ऊर्जा मिलने लगी इसी काल खंड में आरा से प्रदीप सिंह पंकज द्वारा भोजपुर कंठ का प्रकाशन आरंभ किया गया था इससे भी पत्रकारों की संख्या में बढ़ोतरी हुई ।पत्रकारिता के प्रति युवा वर्ग में रुचि बढ़ने लगी ।बाबा टाइम्स में लिखने वाले अजीत राय दिल्ली चले गए ,शशांक शेखर प्रभात खबर और हिंदुस्तान में जुड़ गए जब 1997 में प्रभात खबर का प्रकाशन आरंभ हुआ था 1990 के दशक में जयमंगल पांडे,कुंदन ओझा,कुमार कौशलेंद्र, कमलेश कुमार ,संजय सिंह ,अरुण विक्रांत ,मार्कण्डेय शारदेय,सहित कई लोग जुड़े ।हमलोग पाठक जी को पत्रकारिता जगत के गुरु मानते थे वे ऊर्जावान पत्रकार थे उन्होंने पत्रकारिता को व्यवसाय नही बनाया बल्कि जनता को जागरूक करने का शस्त्र के रूप में इस्तेमाल किया ,अली अनवर के पटना जाने के बाद जनशक्ति के प्रतिनिधि दसरथ विद्यार्थी हुए प्रियरंजन राय जी भी जनशक्ति में उपसंपादक बन गए प्रेस फोटो ग्राफर के रूप में विजय गुप्ता गीता स्टूडियो को मान्यता दिलाया गया था ।1990 तक डुमरांव में पत्रकारिता के सशक्त हस्ताक्षर शिवजी पाठक , अली अनवर प्रदीप कुमार,राजीव कुमार भगत,दसरथ विद्यार्थी,नजीर हुसैन ही थे इसके बाद पत्रकारिता के क्षेत्र में काफी लोग जुड़ कर समाज को मार्गदर्शन कर रहे है ।पाठक जी तीस वर्षों तक दैनिक आज में समर्पित होकर कार्य किए इसके बाद स्वास्थ्य को लेकर पत्रकारिता से सन्यास ले लिए। पाठक जी पत्रकारों के मार्ग दर्शक थे ,पत्रकारिता के युग पुरुष का अंत हो गया ऐसे महापुरुष को शत शत नमन।मैं और मेरे समस्त सहयोगी परिवार के सदस्यों द्वारा नमन।

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