बक्सर खबर : रेलवे स्टेशन पर एक अनजान महिला बैठी रो रही थी। उसकी सिसकी आरपीएफ के एक जवान ने सुनी। उसका हृदय जागा। महिला से रोने का कारण जाना तो पता चला वह घर वालों से बिछड़ गई है। बाबा धाम जल चढ़ाने गई थी। वहां परिवार से साथ छूट गया। अपना नाम उषा देवी पति सदानंद यादव ग्राम खाड़पाकर, थाना रेणुकोट जिला सोनभ्रद , उत्तर प्रदेश बताया। आरपीएफ की टीम ने दिनरात एक कर उस महिला के घर वालों से संपर्क किया। जिसका प्रतिफल रहा कि 42 वर्षीय उषा देवी को लेने उनके पति सदानंद यादव पहुंचे और आरपीएफ बक्सर को धन्यवाद दे वापस लौट गए।
उनके इस मिलन में आरपीएफ की टीम ने जो तत्परता दिखाई उसकी प्रशंसा भी होनी चाहिए। साथ ही उन लोगों के लिए सीख भी है। जो किसी की मदद करने से भागते हैं। सहायक निरीक्षक हरिकेश मीना के अनुसार महिला ने मोबाइल नंबर दिया था। जो मिलाने पर बार-बार आफ आ रहा था। इंटरनेट के माध्यम से रेणुकोट पुलिस का नंबर निकाला गया। उनसे मदद मांगी गई। उचित सहयोग प्राप्त नहीं हुआ। पदाधिकारियों ने वहां की नगर पंचायत का नंबर हासिल किया। जहां से उन्हें खाड़पाकर पंचायत के पूर्व मुखिया का नंबर मिला। पूर्व मुखिया पन्ना लाल ने इस मामले में पूरा सहयोग किया। आरपीएफ का फोन जाने के बाद वे सीधे उषा देवी के घर पहुंच गए। परिवार के लोगों से बात हो गई तो महिला को भी हिम्मत मिली। आरपीएफ टीम भी अपने परिश्रम पर खुश थी। बुधवार को उर्षा देवी के पति यहां पहुंचे। गवाहों के समक्ष पत्नी को ले अपने गांव रवाना हो गए। इस मौके पर सूर्य वंश प्रसाद, तेजनरायण, प्रमोद कुमार सिंह, शैलेश कुमार ओझा, कमलेश कुमार सिंह आदि विभागीय सहयोगी मौजूद रहे।